महिलाओं के जीवन में योग क्यों आवश्यक है

आज  महिलाएं  बेटी  ,बहू ,मां ,और  पत्नी  की  भूमिका निभाते  हुए  अक्सर  अपने  ऊपर  ध्यान  नहीं  दे  पाती । रोजाना  सुबह  से  रात  तक  के  इस  भागदौड़  भरे  जीवन  में  उनके  लिए  एक  नियमित  दिनचर्या  का  पालन  संभव  नहीं  हो  पाता  है  परंतु  यदि  वह  प्रतिदिन  सिर्फ  1  घंटे  का  योगाभ्यास  करती  हैं  जिसमें  प्राणायाम  और  ध्यान   भी  शामिल  है  तो  यह शरीर  को  स्वस्थ  और  सुडौल  बनाने  के  साथ – साथ  हमारे  विचारों  को  भी  निर्मल  बनाने  में  सहायक  होता है  । योग  जीवन  जीने  की  कला  है,  योगासन  जहां  हमारे  शारीरिक  क्षमता  को  बढ़ाते  हैं  वही  प्राणायाम  मानसिक  शक्ति  का  विकास  करता  है ।                         महिलाओं  के  जीवन  में  योग  अति  आवश्यक  है  –                     * महिलाएं  योग  को  अपनी  जीवनशैली  का  अभिन्न  अंग  बना  कर  ना  केवल  शारीरिक  रूप  से  स्वस्थ  रह  सकती  हैं  बल्कि  जीवन  में  विभिन्न  प्रकार  के  मानसिक  विकारों  को  दूर  कर  एक  संतुलित  जीवन  जी  सकती  हैं।                                             * शरीर  में  रक्त  सुचारू  रूप  से  संचार,  प्रतिरोधक  शक्ति  में  सुधार  एवं  ग्रंथियों  से  होने  वाले  स्राव  का  नियंत्रण  भी  योग  द्वारा  ही  संभव  है ।                                                                      * योग  द्वारा  महिलाओं  का  सामान्य  स्वास्थ्य  तो  अच्छा  बनता  ही  है  वहीं  महिलाओं  का  जीवन  चक्र  हारमोंस  के  साथ  जुड़ा  है , एस्ट्रोजन  व  प्रोजेस्ट्रोन  हारमोंस  का  संतुलन  बेहद  जरूरी  है । आयु  की  हर  अवस्था  में  यह अपना  प्रभाव  बनाए  रखते  हैं  आसनों  के  माध्यम  से  की  गई  संकुचन  की  प्रक्रिया  हारमोंस  का  संतुलन  बनाए  रखने  के  लिए  सबसे  अधिक  सहयोगी  होती  है ।                                                                      * नियमित  योगाभ्यास  से  चेहरे   व  आंखों  में  चमक , त्वचा  में  कोमलता  एवं  कांति  आती  है ।                              
      * योग  से  मन  प्रसन्न  रहता  है  और  चित्त  एकाग्र  होता  है  मन  की  चंचलता  समाप्त  करने  के  लिए  प्राणायाम  सटीक  योग  है ।  https://hi.wikipedia.org/wiki/%E0%A4%AF%E0%A5%8B%E0%A4%97                                                                                        * अक्सर  परिवार  में  छोटी -छोटी  बातों  को  लेकर  तनाव  और  मानसिक  परेशानी  हो  जाती  है  अगर  हम  नियमित  योगाभ्यास  करते  हैं  तो  इन  छोटी- छोटी  परेशानियों  से  घबराएंगे  नहीं  बल्कि  संतुलित  दिमाग  से  इन  सब  का  सामना  करेंगे ।                                                                                          * नियमित  योग  से  हमारे  विचारो  में  सकारात्मकता  आती  है  और  साथ  ही  व्यक्तित्व  भी  निखरता  है ।                                * यदि  महिलाएं  नियमित  योग  करती  हैं  तो  वह  अपने बच्चों  को  भी  योगाभ्यास  के  लिए  प्रेरित  कर  पाएंगी  और  अपने  बच्चों  को  अच्छे  संस्कार  दे  पाएंगी ।                                                        इस  प्रकार   योगाभ्यास  शरीर  को  स्वस्थ  व  सुडौल  बनाने  के  साथ – साथ  हमारे  विचारों  को  भी  निर्मल  बनाने  में  सहायक  होता  है  इसलिए  योग  द्वारा  महिलाओं  को  अपने  तन  और  मन  का  सौंदर्य  निखारना  चाहिए ।

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